इस अंक में :
◼️ [संपादकीय] महान रूसी अक्टूबर क्रांति का विश्व-ऐतिहासिक महत्व और उसके कुछ ठोस सबक
◼️ बिहार चुनाव : महागठबंधन की जीत और फासीवाद // शेखर
◼️ मज़दूरों को उनकी ‘अपनी’ सरकार ने ही त्याग दिया // एस. वी. सिंह
◼️ [पुस्तक परिचय] शेतकर्याची आसुड (किसान का चाबुक) – जोतीराव फुले // एम. असीम
◼️ जनता के जनतंत्र की दहलीज़ पर चिली // एस. राज
◼️ [बुटाणा बलात्कार] पुलिस हिरासत में हैवानियत की शिकार नाबालिग दलित महिला // एस. वी. सिंह
◼️ [प्रस्ताव] 26 नवंबर की हड़ताल और मजदूर संघर्ष अभियान सफल करें : मजदूर अधिकार संघर्ष अभियान (मासा)
◼️ एंगेल्स का पुनरावलोकन : पितृसत्ता की ऐतिहासिक भौतिकवादी पुनर्रचना // अमिता कुमारी